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पद किसे कहते हैं Pad kise Kahate Hain
Pad kise Kahate Hain वाक्य के अंदर प्रयुक्त होने वाले शब्द को पद कहते हैं।
पद हिंदी व्याकरण के अनुसार वह शब्द होता है, जो किसी वाक्य में किसी विशेष कार्य, क्रिया या स्थिति का बोध कराता होता है। हर वाक्य में कम से कम एक पद होता है। यह वाक्य का सबसे छोटा अंग होता है।
इसके अलावा हिंदी व्याकरण में पदों को चार वर्गों में विभाजित किया जाता है – संज्ञा पद, क्रिया पद, विशेषण पद और सर्वनाम पद। संज्ञा पद नाम की वस्तु को दर्शाते हैं, क्रिया पद किसी क्रिया को दर्शाते हैं विशेषण पद गुणवचन, संख्या आदि को दर्शाते हैं और सर्वनाम पद नाम की जगह के लिए प्रयोग किए जाते हैं।
पद के भेद पद के पांच भेद होते हैं
संज्ञा
सर्वनाम
विशेषण
क्रिया
किसी व्यक्ति, वस्तु, स्थान, भाव या विषय के नाम को बताता है। संज्ञा शब्दों के बारे में सोचते समय हम किसी वस्तु के नाम को सोचते हैं जो हमारी दृष्टि में होती है। उदाहरण के लिए – लड़का, किताब, दुकान, सुंदरता, स्वतंत्रता, आदि संज्ञाएं हैं।
संज्ञा के प्रकार
संज्ञा (Noun) भाषा का वह शब्द होता है जिससे किसी व्यक्ति, वस्तु, स्थान या भाव के नाम को जाना जाता है। संज्ञा के निम्नलिखित प्रकार होते हैं:
व्यक्तिवाचक संज्ञा: जो शब्द किसी व्यक्ति के नाम को बताता हो, उसे व्यक्तिवाचक संज्ञा कहते हैं। जैसे: राम, श्याम, रितिका, रिया।
वस्तुवाचक संज्ञा: जो शब्द किसी वस्तु के नाम को बताता हो, उसे वस्तुवाचक संज्ञा कहते हैं। जैसे: किताब, घड़ी, बाइक, घर।
स्थानवाचक संज्ञा: जो शब्द किसी स्थान के नाम को बताता हो, उसे स्थानवाचक संज्ञा कहते हैं। जैसे: अमेरिका, लंदन, इंडिया गेट, रेलवे स्टेशन।
भाववाचक संज्ञा: जो शब्द किसी भाव को बताता हो, उसे भाववाचक संज्ञा कहते हैं। जैसे: प्यार, दोस्ती, नफरत, विश्वास।
जातिवाचक संज्ञा एक वाक्य में किसी व्यक्ति, जीव, वस्तु या अवस्था की जाति बताने वाली संज्ञा होती है। यह संज्ञा भाषा के व्याकरण में बहुत महत्वपूर्ण होती है क्योंकि इससे वाक्य का अर्थ स्पष्ट होता है।
जातिवाचक संज्ञाओं के उदाहरण हैं:
इंसान, बैल, घोड़ा, कुत्ता, बिल्ली, चींटी, मछली आदि।
पतंग, तितली, कीड़ा, बाग़, जंगली बिल्ली, जंगली सुअर, साँप आदि।
आदमी, औरत, बच्चा, बूढ़ा, जवान, छात्र, विद्यार्थी, नेता, नौकर, चायवाला आदि।
वह शब्द जो संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त होते हैं सर्वनाम कहलाते हैं जैसे कि मैं, तुम, वह, हम, आप, यह, वे आदि।
सर्वनाम के प्रकार
सर्वनाम वाक्य में संज्ञा के स्थान पर प्रयुक्त होते हैं। सर्वनाम वाक्य को संकेतित करते हैं कि संज्ञा किस व्यक्ति, वस्तु या विचार से संबंधित है। सर्वनाम के निम्नलिखित प्रकार होते हैं:
पुरुषवाचक सर्वनाम: जो व्यक्ति के स्थान पर प्रयोग करते हैं, जैसे – मैं, आप, तू, तुम, वह, वे इत्यादि।
सम्बन्धवाचक सर्वनाम: जो संज्ञा की संबंधितता को बताते हैं, जैसे – जिसका, जिसे, जिससे, जिसमें, इत्यादि।
निजवाचक सर्वनाम: वह सर्वनाम जिसका प्रयोग स्वयं के स्थान पर करते हैं स्वयं के लिए करते हैं, जैसे – आप, अपना, स्वयं, ख़ुद इत्यादि।
निश्चयवाचक सर्वनाम वे सर्वनाम होते हैं जो व्यक्ति या वस्तु की दूरी या स्थान की निर्देश करते हैं। इन्हें निम्नलिखित शब्दों से जाना जाता है:
यह (This) – जो वस्तु आपके पास है।
उदाहरण: यह पुस्तक मेरी है।
वह (That) – जो वस्तु आपके पास नहीं है।
उदाहरण: वह घर बहुत बड़ा है।
ये (These) – जो वस्तु आपके पास हैं।
उदाहरण: ये किताबें मेरी हैं।
वे (Those) – जो वस्तु आपके पास नहीं हैं।
उदाहरण: वे लोग मेरे दोस्त हैं।
प्रश्नवाचक सर्वनाम: जो प्रश्न को प्रदर्शित करते हैं, जैसे – कौन, क्या, कितना, कब, कैसा इत्यादि।
शब्दों के माध्यम से किसी चीज को करना या उसका बोध कराना आमतौर पर क्रिया कहलाती है।
क्रिया के प्रकार
क्रिया दो प्रकार की होती हैं
अकर्मक क्रिया
सकर्मक क्रिया
अकर्मक क्रिया: वह क्रिया जिसका कार्य भी कर्ता करें और फल भी कर्ता को मिले अकर्मक क्रिया कहलाती है उदाहरण- कृष्णा हंसता है।
सकर्मक क्रिया: वह क्रिया जिसका प्रभाव कर्ता पर ना पढ़कर कर्म पर पड़ता है सकर्मक क्रिया कहलाती है उदाहरण – राम फल खाता है।
वह शब्द जो संज्ञा और सर्वनाम की विशेषता बताते हैं विशेषण कहलाता है।
हिंदी व्याकरण में विशेषण निम्नलिखित प्रकार के होते हैं:
गुणवाचक विशेषण – इन विशेषणों से नाम की गुणवत्ता का बोध होता है, जैसे – लम्बा, चौड़ा, सुंदर, सफेद, काला आदि।
सर्वनामीक विशेषण – जो विशेषण सर्वनाम के रूप में प्रयोग किए जाते हैं जैसे – यह, वह, इन, उन।
उदाहरण – यह आम खाने के लिए अच्छा है
पद के उदाहरण
क + म + ल = कमल
क + ल + म = कलम
ल + म + क = लमक
ल + क + म = कलम
Pad kise Kahate Hain पद किसे कहते हैं आप अवश्य समझ रहे होंगे पढ़ने के लिए धन्यवाद।